Major Glacier in Himachal Pradesh
- हिमाचल प्रदेश का सबसे बड़ा ग्लेशियर (हिमानी ) कौन सी है ?
(A) दुधोन ग्लेशियर
(B) पार्वती ग्लेशियर
(C) बड़ा शिगडी ग्लेशियर
(D) मुल्किला ग्लेशियर
उत्तर : (C) बड़ा शिगडी ग्लेशियर
व्याख्या :- बड़ा शिगड़ी हिमनद हिमाचल प्रदेश का सबसे बड़ा हिमनद है। बड़ा शिगड़ी हिमनद लाहौल स्पीति जिले में स्थित है। इससे चन्द्रा नदी को पानी मिलता है। इसकी लम्बाई 25 किलोमीटर तथा चौड़ाई 3 किलोमीटर है। यह मुख्य हिमालय के मध्य की ढलान पर स्थित है। बड़ा शिगड़ी ग्लेशियर का पूरा क्षेत्र बंजर तथा बिना किसी प्राकृतिक उपज के है। कहा जाता है कि वर्ष 1936 में इस ग्लेशियर ने चंद्रा घाटी में भारी तबाही की थी, जिसके परिणामस्वरूप बाद में चंद्रताल झील का निर्माण हुआ। भादल ग्लेशियर - भादल ग्लेशियर हिमाचल प्रदेश के किस जिले में है ?
(A) लाहौल-स्पीति
(B) किनौर
(C) काँगड़ा
(D) चम्बा
उत्तर :(C) काँगड़ा
व्याख्या :- यह ग्लेशियर पीरपंजाल श्रृंखला की दक्षिण-पश्चिम ढ़लान पर जिला काँगड़ा के बड़ाभंगाल क्षेत्र में स्थित है। भादल नदी इसी ग्लेशियर द्वारा सिंचित की जाती है जो रावी नदी की एक बड़ी सहायक नदी है। - पार्वती नदी को पानी देने वाला मुल्किला तथा मियार ग्लेशियर किस जिले में स्थित है ?
(A) किनौर
(B) कुल्लू
(C) लाहौल-स्पीति
(D) शिमला
उत्तर :(C) लाहौल-स्पीति
व्याख्या :-6478 मीटर की ऊँचाई पर भागा घाटी में यह ग्लेशियर स्थित है। जिसमें भागा नदी को जल मिलता है। इसके अलावा मिलांग , गेंगस्तान लेडी ऑफ़ केलांग भागा घाटी के प्रमुख ग्लेशियर है। - ‘दुधोन ‘ और ‘पार्वती ‘ ग्लेशियर किस जिले में स्थित है ?
(A) चम्बा
(B) किनौर
(C) कुल्लू
(D) मण्डी
उत्तर :(C) कुल्लू
व्याख्या : दुधोन और पार्वती जिले में स्थित है। ये दोनों ग्लेशियर पार्वती नदी को पानी देते हैं तथा इन दोनों ग्लेशियर की लम्बाई 15 -15 किलोमीटर है। व्यास कुण्ड ग्लेशियर ग्लेशियर ब्यास नदी को जल प्रदान करता है तथा यह पीरपंजाल श्रृंखला की दक्षिण ढलान पर रोहतांग दर्रे के समीप स्थित है। - हिमाचल प्रदेश के किस जिले में पाचा और कुल्टी ग्लेशियर स्थित है ?
(A) कुल्लू
(B) चम्बा
(C) लाहौल स्पीति
(D)काँगड़ा
उत्तर :- (C) लाहौल स्पीति
व्याख्या :-पाचा और कुल्टी ग्लेशियर लाहौल के चंद्रा घाटी में स्थित है। इस घाटी के अन्य प्रमुख ग्लेशियर है -छोटा शिगड़ी , शिपतिंग , दिंगकर्मो ,तापन ,गेफेंग ,शिल्ली ,बोलूनाग तथा शामुद्री। गेफेंग ग्लेशियर का नाम लाहौल घाटी के सुप्रसिद्ध देवता गेफेंग पर किया गया है। जिनका सराहन में एक मंदिर भी है। गेफेंग छोटी स्विट्जरलैंड की मैटरहॉर्न चोटी से मेल खाती है , जो वर्ष भर बर्फ से ढकी रहती है। स्थानीय लोग इसे लाहौल घाटी का मणिमहेश भी कहते है। - धोकसा और नीलकण्ठ ग्लेशियर किस घाटी में स्थित है ?
(A) चंद्रा घाटी
(B) चम्बा घाटी
(C) कुल्लू घाटी में
(D) पटट्न घाटी
उत्तर :(D) पटट्न घाटी
व्याख्या :-शिल्पा , कुक्टी , लेंगर , धोक्सा और नीलकण्ठ ग्लेशियर पटट्न घाटी में स्थित है। पटट्न घाटी के प्रमुख ग्लेशियर है ;-
सोनापानी ग्लेशियर- यह ग्लशियर कुल्टी नाले के पास स्थित है। 1906 में वालकर तथा पासकोई ने पहली बार तथा 1957 में भारतीय भू-गर्भिक सर्वेक्षण के क्यूरिन एवं मुन्शी ने दूसरी बार इसका सर्वेक्षण किया।
पेराद ग्लेशियर -यहाँ पुतिरुणि से पहुँचा जा सकता है। यहाँ एक सूंदर गुफा है। पेराद का स्थानीय भाषा में अर्थ ‘टूटी हुई चट्टान ‘ है।
मियार ग्लेशियर -मियार हिमनद जो मियार नदी को जल प्रदान करता है। इसकी लम्बाई 12 किलोमीटर के लगभग है। - चन्द्रनाहन ग्लेशियर से किस नदी को जल मिलता है ?
(A) स्पीति
(B) पब्बर
(C) गिरी
(D) टौंस
उत्तर :(B) पब्बर
व्याख्या :- यह ग्लेशियर शिमला जिले के रोहड़ू की चांशल चोटी पर स्थित है जिससे पब्बर नदी को जल मिलता है। - लाहौल की भागा घाटी में कौन-सा ग्लेशियर नहीं है ?
(A) भादल
(B) मुल्किला
(C) मिलांग
(D) लेडी ऑफ़ केलांग
उत्तर : (A) भादल
व्याख्या :- भादल ग्लेशियर काँगड़ा जिले में स्थित है। लेडी ऑफ़ केलांग भागा घाटी में स्थित है। 6061 मीटर की ऊँचाई पर स्थित इस ग्लेशियर को केलांग से देखा जा सकता है। इसका नामकरण अंग्रेज महिला लेडी एलशेनडे द्वारा किया गया है। बर्फ पिघलने पर इसकी आकृति महिला जैसी दिखती है। भागा हिमनद भागा नदी को जल प्रदान करता है। लाहौल की भागा घाटी में स्थित इस ग्लेशियर तक ‘कोकसर ‘ एवं ‘तांडी ‘ के रास्ते पहुंचा जा सकता है। मुल्किला ग्लेशियर भी भागा घाटी में स्थित है।
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